tag:blogger.com,1999:blog-6527133206451530608.post5717620149170651648..comments2023-10-24T13:10:35.344+05:30Comments on सागरिका: खतरे में बेटियाँGurramkonda Neerajahttp://www.blogger.com/profile/15380939804304000823noreply@blogger.comBlogger14125tag:blogger.com,1999:blog-6527133206451530608.post-87351019516834398382014-10-01T20:09:48.406+05:302014-10-01T20:09:48.406+05:30इस टिप्पणी को लेखक द्वारा हटा दिया गया है.Neeraj Neerhttps://www.blogger.com/profile/00038388358370500681noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6527133206451530608.post-85883030749415449002014-10-01T20:09:44.912+05:302014-10-01T20:09:44.912+05:30स्थिति बहुत ही वीभत्स है, आपने बहुत ही सुंदरता से ...स्थिति बहुत ही वीभत्स है, आपने बहुत ही सुंदरता से इस संवेदनशील विषय को अपनी कविता के माध्यम से उठाया है। <br />आपको अपने ब्लॉग काव्यसुधा पर आने का निमंत्रण देता हूँ ... <br /><a href="http://kavineeraj.blogspot.in#links" rel="nofollow">KAVYASUDHA ( काव्यसुधा )</a>Neeraj Neerhttps://www.blogger.com/profile/00038388358370500681noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6527133206451530608.post-62318913092760582212014-10-01T20:09:42.219+05:302014-10-01T20:09:42.219+05:30स्थिति बहुत ही वीभत्स है, आपने बहुत ही सुंदरता से ...स्थिति बहुत ही वीभत्स है, आपने बहुत ही सुंदरता से इस संवेदनशील विषय को अपनी कविता के माध्यम से उठाया है। <br />आपको अपने ब्लॉग काव्यसुधा पर आने का निमंत्रण देता हूँ ... <br /><a href="http://kavineeraj.blogspot.in#links" rel="nofollow">KAVYASUDHA ( काव्यसुधा )</a>Neeraj Neerhttps://www.blogger.com/profile/00038388358370500681noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6527133206451530608.post-87935274635622530192014-10-01T20:06:10.701+05:302014-10-01T20:06:10.701+05:30इस टिप्पणी को लेखक द्वारा हटा दिया गया है.Neeraj Neerhttps://www.blogger.com/profile/00038388358370500681noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6527133206451530608.post-13090134675778184682014-04-25T19:12:22.558+05:302014-04-25T19:12:22.558+05:30ऐसे वक़्त में दर्द की चीखे भी खतम हो जाती हैं
कव...ऐसे वक़्त में दर्द की चीखे भी खतम हो जाती हैं <br /><br /><br />कविता पढ़ने के बाद एक झुरझुरी पैदा हुई उफ़्फ़ के साथ ...बहुत मार्मिक Anju (Anu) Chaudharyhttps://www.blogger.com/profile/01082866815160186295noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6527133206451530608.post-45921615497934454682014-04-25T19:12:20.316+05:302014-04-25T19:12:20.316+05:30ऐसे वक़्त में दर्द की चीखे भी खतम हो जाती हैं
कव...ऐसे वक़्त में दर्द की चीखे भी खतम हो जाती हैं <br /><br /><br />कविता पढ़ने के बाद एक झुरझुरी पैदा हुई उफ़्फ़ के साथ ...बहुत मार्मिक Anju (Anu) Chaudharyhttps://www.blogger.com/profile/01082866815160186295noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6527133206451530608.post-17592920190705186292014-04-25T16:26:41.898+05:302014-04-25T16:26:41.898+05:30बहुत मार्मिक। .
कुछ इंसान में राक्षस छुपा रहता है...बहुत मार्मिक। . <br />कुछ इंसान में राक्षस छुपा रहता है जो सबके लिए दुखदायी बन जाता है कविता रावत https://www.blogger.com/profile/17910538120058683581noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6527133206451530608.post-88299453117782771052014-04-25T14:09:05.396+05:302014-04-25T14:09:05.396+05:30बेहद मार्मिक एवं यथार्थपूर्ण रचना..बेहद मार्मिक एवं यथार्थपूर्ण रचना..Anonymousnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6527133206451530608.post-44298481022225181742014-04-25T05:48:06.055+05:302014-04-25T05:48:06.055+05:30समाज बेटियों के लिए अभिशाप बन चुका है -मर्म को छूत...समाज बेटियों के लिए अभिशाप बन चुका है -मर्म को छूती रचना !कालीपद "प्रसाद"https://www.blogger.com/profile/09952043082177738277noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6527133206451530608.post-50116209649125641102014-04-24T16:25:20.073+05:302014-04-24T16:25:20.073+05:30मार्मिक रचना.मार्मिक रचना.RAKESH KUMAR SRIVASTAVA 'RAHI'https://www.blogger.com/profile/14562043182199283435noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6527133206451530608.post-12862857569117521132014-04-24T15:29:48.927+05:302014-04-24T15:29:48.927+05:30कल 25/04/2014 को आपकी पोस्ट का लिंक होगा http://n...कल <b>25/04/2014</b> को आपकी पोस्ट का लिंक होगा <a href="http://nayi-purani-halchal.blogspot.in" rel="nofollow"> http://nayi-purani-halchal.blogspot.in </a> पर <br />धन्यवाद !<br />Yashwant R. B. Mathurhttps://www.blogger.com/profile/06997216769306922306noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6527133206451530608.post-31000190517427705042013-04-22T13:52:30.518+05:302013-04-22T13:52:30.518+05:30आ, नीरजा जी, बधाई.बड़ी मार्मिक रचना है.आ, नीरजा जी, बधाई.बड़ी मार्मिक रचना है.संपत देवी मुरारकाhttps://www.blogger.com/profile/09970933396765531753noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6527133206451530608.post-81151000348110666422013-04-22T09:47:29.264+05:302013-04-22T09:47:29.264+05:30बड़ी मार्मिक और सामयिक रचना है । भाषा की सहजता और ...बड़ी मार्मिक और सामयिक रचना है । भाषा की सहजता और शब्दों का प़वाह <br />भी आकर्षक है । रचनाकार को बधाई ।Sp Sudheshhttps://www.blogger.com/profile/02398620807527835617noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6527133206451530608.post-55990697051946796852013-04-22T09:38:47.281+05:302013-04-22T09:38:47.281+05:30जहां भी ऐसी दर्दनाक घटनाएं घटित हो रही वहां उसके क...जहां भी ऐसी दर्दनाक घटनाएं घटित हो रही वहां उसके कारण और परिस्थितियां कुछ अलग ही है। यहां सरकार,पुलिस और प्रशासन को दोशी मान आक्रमक होना, गालीगलौच करना और किसी का निलंबन करना उपाय नहीं है। ऐसा करना सांप समझ रस्सी को पीटते रहना है। मूल बीमारी दुष्चरित्र लोगों की मानसिकता में है। हमें अपनी और अपने परिवार की खुद सुरक्षा करनी होगी, पास-पडोस के माहौल से सचेत रह कर बच्चों को एक सुरक्षा कवच देना पडेगा। थोडा नजरंदाज करना बहुत महंगा पड सकता है। जानवर और पशु-पंछी अपने बच्चों को और परिवार जनों को बुरी आंखों से बचाए रखते हैं। जरूरत पडने पर हमला करते हैं। कहीं न कहीं ऐसी घटनाओं में लापरवाही पुलिस, प्रशासन, सरकार के साथ माता-पिता की मानी जा सकती है। आस-पास हजारों खतरें और राक्षस खडे है पहले खुद लडाई लडनी पडेगी।<br />साहित्य और समीक्षा डॉ. विजय शिंदेhttps://www.blogger.com/profile/18249451298672443313noreply@blogger.com